Diversification क्यों ज़रूरी है?
इक्विटी म्यूचुअल फंड (equity mutual fund) निवेश का एक लोकप्रिय माधयम है जिससे अन्य साधन (जैसे की fixed deposit) की तुलना में धन सृजन (wealth generation) शीघ्र होता है, और इसमें सीधे शेअर बाज़ार निवेश से आम तौर पर कम जोखिम रहता है। क्योंकि शेअर बाज़ार में अलग-अलग मार्केट कैप (Large, Mid, Small Cap) के स्टॉक्स का प्रदर्शन अलग होता है, उसी प्रकार उन पर आधारित म्यूचुअल फंड का performance भी अलग-अलग होता है। इसी कारण, अपने portfolio में विविधता (diversity) होना अनिवार्य है।
Fund of Funds (FOF) क्या है?
FOF एक ऐसा एक्सचेंज-ट्रेडेड फंड (exchange-traded fund (ETF)) है जो सीधे स्टॉक्स में नहीं, बल्कि दूसरे इक्विटी म्यूचुअल फंड्स या ETF की यूनिटों में निवेश करता है। इससे निवेशकों को निम्नलिखित लाभ मिलते हैं—
Multi-fund Manager Strategy | अलग-अलग फंड प्रबंधक (fund managers) के अलग-अलग निवेश रणनीतियाँ होती हैं। FOF निवेश पर प्रतिफल (return on investment) अपने आधारभूत फंड्स (underlying funds) के रणनीतियों पर आधारित है, जिससे फायदेमंद नीतियों का लाभ बढ़ता है और नुकसानमंद नीतियों का जोखिम कम हो जाता है, जो single-fund manager strategy से नहीं हो सकता। |
विभिन्न Market Caps |
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विभिन्न निवेश शैलियाँ | अलग अलग कंपनियों की निवेश शैलियाँ (investment styles) अलग अलग होने के कारण, इनके फंड्स की संरचना भी अलग अलग होती है। |
कुल मिलाकर इन तीन नीतियों से आपको FOF द्वारा संपूर्ण विविधीकरण का लाभ मिलता है।
FOF निवेश के फायदे
व्यवहार संबंधी त्रुटियाँ कम | अलग अलग प्रबंधक (fund managers) के अलग अलग व्यवहार संबंधी त्रुटियाँ (Behavioural Errors) होते हैं (आखिर वह भी मनुष्य ही हैं), उनके निवेश निर्णय हमेशा सही नहीं होते। क्योंकि FOF किसी एक प्रबंधक पर निर्भर नहीं है, इन त्रुटियों पर नियंत्रण रहता है। |
ऑटोमैटिक पुनर्संतुलन | आम तौर पर, मार्केट गिरने या बढ़ने पर कैप आवंटन (cap allocation) अपने आप पुनर्संतुलित (Automatic Rebalancing) हो जाता है। |
निवेश सुविधा | FOF आपको एक ही फंड में सभी market caps में व्यापक इक्विटी एक्सपोज़र देता है। |
दीर्घकालिक दृष्टिकोण | FOF का संपूर्ण लाभ तब मिलता है जब आपका दृष्टिकोण “वार्षिक लाभ” से हटकर “दशकीय लाभ” पर केंद्रित होता है। लघु अवधि (short term) में उतार-चढ़ाव भ्रामक हो सकता है, लंबी अवधि (10 साल+) में यह रिटर्न एक-जैसे हो जाते हैं। |
संभावित चुनौतियाँ
अधिक व्यय अनुपात | बहु-स्तरीय फंड्स (Multi-layer funds) की वजह से FOF में अधिक व्यय अनुपात (Expense Ratio) रहता है। |
कराधान में जटिलता | अलग-अलग स्कीम्स पर कर का असर अलग-अलग रहता है। |
अधिव्यापन का जोखिम | अलग-अलग फंड्स में वही आधारभूत स्टॉक दोहराया जा सकता है, जिससे विविधीकरण क लाभ कम हो जाता है। |
निष्कर्ष
FOF रणनीति उन निवेशकों के लिए उपयोगी है जो लंबे समय तक इक्विटी में निवेश करना चाहते हैं और विविधीकरण (diversification) के ज़रिए जोखिम घटाना चाहते हैं। निवेश करने से पहले व्यय अनुपात (expense ratio), आधारभूत फंड चयन (underlying fund selection) और कर निहितार्थ (tax implications) पर ध्यान देना आवश्यक है।
Keywords: Fund of Funds (FOF), Equity Diversification, Behavioural Errors, Long Term Equity Returns, Portfolio Rebalancing, Market Cap Allocation, Equity Investment Strategy, Indian Mutual Funds